Ranchi: बुधवार की शाम पांच बजे के आसपास रांची में करीब आधे घंटे तक तेज बारिश हुई. इस दौरान काफी वज्रपात भी हुई. बारिश से पहले रांची का अधिकतम तापमान 32 डिग्री रिकॉर्ड किया गया था, लेकिन बारिश के बाद तापमान तीन से चार डिग्री गिरा. यानी 28 डिग्री तापमान रिकॉर्ड किया गया है. पांच मिमी बारिश रिकॉर्ड किया गया है. अगले पांच दिनों तक रांची सहित झारखंड के कई हिस्सों में बारिश के आसार हैं. 24 घंटे के अंदर रांची सहित झारखंड के कई हिस्सों में बारिश हुई. गुरुवार को मध्य व दक्षिणी हिस्से में बारिश होने के आसार हैं. 12 जून को इन जगहों पर भारी बारिश के आसार हैं. अगले पांच दिनों तक वज्रपात की चेतावनी जारी की गई है.
मौसम वैज्ञानिक अभिषेक आनंद ने बताया कि मानसून प्रवेश करने से पहले वज्रपात होती है. इसलिए, ज्यादा अलर्ट रहने की जरूरत है. अगले दो से तीन दिन के अंदर झारखंड में मानसून प्रवेश कर जाएगा.
मानसून आगे बढ़ रहा है. बंगाल की खाड़ी में लो प्रेशर बना हुआ है. इसलिए, 72 घंटे के अंदर मानसून आएगा. अभी पांच दिन वज्रपात और गर्जन के साथ बारिश होगी. इसलिए, अधिकतम तापमान में भी 6 से 7 डिग्री की गिरावट होने की संभावना है. यानी अब अगले पांच दिनों तक लोगों को गर्मी से राहत मिलेगी.
रांची सहित आसपास के जिलों में वज्रपात की चेतावनी रांची, बोकारो, गुमला, हजारीबाग, खूटी व रामगढ़ और पूर्वी सिंहभूम, पश्चिमी सिंहभूम, सिमडेगा व सरायकेला-खरसांवा के कुछ जगहों
पर भारी बारिश की संभावना है. संभवतः 13 जून को मानसून ब्रेक हो सकता है. अधिकतम तापमान 27 डिग्री तक पहुंचने की संभावना है.
रांची में बुधवार को मात्र 25 मिनट की बारिश ने शहर की सफाई और ड्रेनेज सिस्टम का सच सामने ला दिया. नगर निगम पिछले माह तक नालियों को साफ करने के लिए स्पेशल ड्राइव चलाने का दावा किया था. 17 दिन में एक करोड़ रुपए खर्च किए गए. लेकिन, बारिश के बाद अधिकतर इलाकों में नाली में जमा कचरा सड़क पर आ गया. बरियातू जोड़ा तालाब रोड, अपर बाजार का बड़ा स्ट्रेट, कचहरी रोड स्थित हलधर प्रेस गली में स्थित दर्जनों घरों में बारिश के पानी के साथ नाली का कचरा घर के अंदर चला गया.
मानसून से पहले शहर की छोटी बड़ी नालियों को साफ करने के लिए नगर विकास सचिव ने विशेष सफाई अभियान चलाने का निर्देश दिया था. इसके बाद नगर निगम ने रूटीन सफाई के अलावा अतिरिक्त मजदूरों को लगाकर सभी 53 वार्डों में सफाई कराई थी. इस दौरान 1000 से अधिक मजदूरों ने छोटी बड़ी नालियों को साफ किया. कवर नाली को कटर मशीन से काटकर अंदर से कचरा निकाला गया. सफाई अभियान पर एक करोड़ से अधिक खर्च हुआ. बावजूद नालियों में जमा कचरा बाहर निकल रहा है.